अयोध्या में भव्य राम मंदिर की आगामी 22 जनवरी को होने वाली प्राण प्रतिष्ठा की तैयारियां जोरों पर हैं। मंदिर के भूतल पर 14 दरवाजे लगने हैं जिन्हें कारीगर अंतिम आकार देने में जुटे हुए हैं।अयोध्या राम मंदिर के 14 खूबसूरत घुमावदार दरवाजे महाराष्ट्र के सागौन से तैयार हो रहे हैं जिन्हें स्वर्ण जड़ित किया जाना है।
अयोध्या राम मंदिर के दरवाजों की तैयारी:
अयोध्या राम मंदिर के भूतल पर 14 दरवाजे लगने हैं। इन दरवाजों को महाराष्ट्र के सागौन की लकड़ी से तैयार किया जा रहा है। दरवाजों पर सुंदर नक्काशीदार डिजाइन है। दरवाजों को फाइनल टच देने के लिए दिल्ली भेजा गया है जहां इनकी कोटिंग होगी। इन दरवाजों पर वैभव प्रतीक गज (हाथी), खूबसूरत विष्णु कमल, स्वागत की प्रणाम मुद्रा में देवी चित्र अंकित हैं।
अयोध्या राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा की तैयारी:
प्राण प्रतिष्ठा समारोह को भव्य बनाने में सरकार कोई कसर नहीं छोड़ना चाहती है। प्रभु श्री रामलला का गर्भ गृह स्थान लगभग तैयार हो गया है। लाइटिंग फिटिंग का काम भी पूरा कर लिया गया है।
अयोध्या राम मंदिर की जानकारी:
अयोध्या राम मंदिर उत्तर भारत की नागर शैली पर बनाया जा रहा है। नागर शैली उत्तर भारतीय हिन्दू स्थापत्य कला की तीन में से एक शैली है। वास्तुशास्त्र के अनुसार नागर शैली के मंदिरों की पहचान आधार से लेकर सर्वोच्च अंश तक इसका चतुष्कोण होना है।
मंदिर की लंबाई 380 फुट, चौड़ाई 250 फुट और प्रांगण से 161 फुट ऊंचा है। पूरे गर्भगृह को मकराना के संगमरमर से उकेरा गया है। मंदिर में 392 पिलर है।
अयोध्या राम मंदिर के लिए 2100 किलो का घंटा तैयार किया गया है। यह घंटा 6 फुट ऊंचा और 5 फुट चौड़ा है। इसे घंटा घूंघरू-घंटी नगरी के नाम से मशहूर जलेसर में तैयार किया गया है। इस घंटे को तैयार करने में माह दिन-रात काम किया गया है। इसकी लागत 25 लाख रुपये के करीब आई है।
अयोध्या में राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा की तैयारियां जोरों पर हैं। अयोध्या राम मंदिर को भव्य और दिव्य बनाने के लिए सभी प्रयास किए जा रहे हैं। 22 जनवरी को होने वाले इस भव्य समारोह में देश-विदेश से लाखों श्रद्धालु शामिल होने की उम्मीद है।